Wednesday, November 16, 2016

आत्मा की नीयत बदलने वाला नोट ही बदल दिया है मोदी ने


भगवान के दरबार में सभा चल रही थी, भगवान ने बताया कि धरती पर मनुष्य नाम के प्राणी की आत्मा में बहुत विकृति आ गयी है। वे दिखने में तो मनुष्य ही दिखते हैं लेकिन उनका कृत्य कुत्ते, सूअर आदि के समान हो गया है इसकारण इन प्राणियों में काफी रोष व्याप्त है। कुत्ता कह रहा है कि हम सब से अधिक वफादार होते हैं इसलिये हम मालिक की सुरक्षा के लिये भौंकते हैं और जिस व्यक्ति से खतरा होता है उसी पर भौंकते हैं। लेकिन यह मनुष्य सच्चे इंसानों पर ही भौंकने लगे हैं और हमें गाली पड़वाने लगे  हैं। पागल की तरह किसी को भी काट लेते हैं और फिर गाली पड़ती है कि तू कुत्ते की मौत मरेगा। इसी प्रकार सूअर भी शिकायत कर रहे हैं कि हम धरती की गन्दगी को समाप्त करते हैं लेकिन ये धरती को गन्दा कर रहे हैं और सूअर के नाम की इन्होंने गाली बना दी है।
इसलिये मैंने निर्णय किया है कि आत्मा का ही नवीनीकरण कर दूँ। एक बार साफ धो-पोछकर इनका कल्याण कर दूँ।
लेकिन भगवन इससे तो सारे मनुष्य एक जैसे हो जाएंगे!
नहीं इनकी आत्मा का जो बड़ा पुर्जा  है बस उसे ही बदल देते हैं, बाकी छोटे पुर्जें वही रहेंगे। अनावश्यक भौंकना, गन्दगी करना आदि काम एकबारगी बन्द हो जाएंगे। इनका कुत्तापना और सूअरपना कम हो जाएगा।
महाराज इस अदला-बदली में तो बहुत समय लगेगा और जैसे ही इनको पता लगेगा कि हमें सुधारा जा रहा है, ये तो तहलका मचा देंगे। भौंक-भौंक कर धरती को सर पर उठा लेंगे और गन्दगी फैलाकर धरती को बदबूदार कर देंगे।
करेंगे तो सही, लेकिन इससे अच्छे मनुष्य  और बुरे मनुष्य का भेद सभी को लग जाएगा और अच्छे लोग इनके झांसे में नहीं आएंगे।

भगवान ने जैसे ही आत्मा बदली की घोषणा की और धरती का चक्कर लगाया तो देखा कि यहाँ तो पहले ही मोदी नामक जीव ने इनके शुद्धिकरण का कार्य शुरू किया है और भारत देश में जोर-जोर से भौंकने की आवाजें आ रही हैं। जगह-जगह लोग गन्दगी फैलाने का प्रयास कर रहे हैं। लेकिन अधिकांश लोग इस पहल से खुश है। भगवान ने चैन की सांस ली और तथास्तु कहकर अपने धाम को प्रस्थान किया। अब आत्मा बदलने की जरूरत नहीं है क्योंकि आत्मा की नीयत बदलने वाला नोट ही बदल दिया है मोदी ने।

No comments:

Post a Comment